शिखर पर पहुंचने की इस कड़ी में अब उन लोगों की बात करते हैं. जिन लोगों ने मन में ठाने अपने लक्ष्य को हासिल किया. बात चाहे पिछले साल की हो या फिर एक-दो दशक पुरानी. लेकिन इन लोगों की कहानी आज भी हर युवा वर्ग के लिए प्रेरणा स्त्रोत के रूप में देखी जाती है. यूपीएससी सिविल सर्विसेज की परीक्षा सबसे देश की सबसे कठिन परीक्षाओं में मानी जाती है. लेकिन अगर कोई इस परीक्षा में सफल होने का लक्ष्य निर्धारित कर देता है तो फिर चुनौतियां उसके सामने छोटी पड़ जाती है. कुछ ऐसी ही कहानी है सुरभि गौतम की.
सुरभि गौतम का जीवन परिचय
मध्य प्रदेश के एक छोटे से गांव अमदरा में एक शिक्षक-वकील दंपति के घर में सुरभि गौतम का जन्म हुआ. सुरभि की प्राथमिक शिक्षा गांव के ही एक सरकारी स्कूल में पूरी हुई. सुरभि बचपन से ही पढ़ाई में काफी अच्छी रही थी. सुरभि जब 5वीं कक्षा में थी तो उस समय गणित में 100 में से 100 अंक हासिल कर सभी वाहवाही लूटी. और उस समय सुरभि ने तय कर लिया था की कुछ बड़ा करना है.
सुरभि को गंभीर बीमारी ने घेरा
सुरभि पढ़ाई के प्रति बहुत गंभीर थी. लेकिन इस बीच सुरभि के जोड़ों में दर्ज होने की शिकायत हुई. लेकिन सुरभि ने इसकी ओर ध्यान ना देते हुए अपनी पढ़ाई जारी रखी. लेकिन अब ये दर्ज धीरे-धीरे के पूरे शरीर में पहुंच चुकी थी. एक समय हालात ये हो गई की सुरभि पूरी तरह से बिस्तरों में रहने लगी. इस बीच सुरभि के माता-पिता सुरभि को लेकर जबलपुर लेकर गए जहां पता चला की सुरभि को रुमेटिक फीवर है जो धीरे-धीरे इंसान को मौत की ओर धकेलता है. जिसके बाद सुरभि का इलाज चला. सुरभि के इलाज के लिए सुरभि के माता-पिता जबलपुर में ही रहे.
आईएएस बनने की ठानी,लेकिन अंग्रेजी बनी सिरदर्द
सुरभि ने कई बार अखबार में आईएएस बनने वाले लोगों की कहानी पढ़ी. जिसके बाद सुरभि ने आईएएस बनने की ठानी. लेकिन सरकारी स्कूल में पढ़ाई होने के चलते सुरभि के सामने सबसे बड़ी चुनौती थी. अंग्रेजी की. जिसके बाद सुरभि ने अपनी अंग्रेजी सुधारने के लिए अंग्रेजी में बात करने के साथ ही अंग्रेजी पुस्तकों को पढ़ना शुरू किया.
कॉलेज प्लेसमेंट में ही मिली नौकरी
सुरभि जब कॉलेज में पढ़ती थी तो उस समय कॉलेज प्लेसमेंट के दौरान उनको अच्छी नौकरी मिली. लेकिन उन्होंने नौकरी करने से इनकार कर दिया. इसके बाद तो प्रतियोगी परीक्षाओं को पास करना सुरभि की आदत में शुमार हो गया. सुरभि गौतम ने बीएआरसी (BARC), आईएसआरओ (ISRO), जीटीई (GTE), एसएआईएल (SAIL), एमपीपीएससी (MPPSC), एसएससी (SSC), एफसीआई (FCI) और दिल्ली पुलिस की परीक्षाओं में सफलता प्राप्त की.
आईईएस में मिली सफलता,लेकिन सपना पूरा करने की ठानी
सुरभि गौतम ने जब 2013 में आईईएस की परीक्षा दी तो उनका ये बिल्कुल अंदाजा नहीं था की वो परीक्षा में टॉप कर जाएंगी. सुरभि ने आईईएस परीक्षा में ऑल इंडिया टॉप रैंक हासिल की. लेकिन सुरभि का सपना आईएएस बनने का था. जिसके बाद आईएएस बनने के लिए अपनी तैयारी जारी रखी. और साल 2016 में अपने पहले ही प्रयास में सुरभि ने 50वीं रैंक हासिल करते हुए आईएएस बनने के सपने को पूरा किया